निशा शर्मा
चंडीगढ़। हरियाणा में बिजली महकमा कमाल कर रहा है.।किसी पीड़ित की फरियाद पर किस तरह से सुनवाई करता है, यह जानकार कोई भी हैरान रह जाएगा। सोनीपत के विशाल नगर में रहने वाले कृष्ण कुमार को पहले 68 लाख 84 हजार रुपए का बिजली बिल भेजा गया था। जब उसने बिल को ठीक करने के लिए बिजली अफसरों के सामने गुहार लगाई, लेकिन उसके बाद दोबारा आए बिल को देख कर कृष्ण कुमार के पैरों के नीचे से जमीन ही खिसक गई। इस बार उसे 1 करोड़ 10 लाख रुपए का बिल भेज दिया गया। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
कृष्ण कुमार के पास 80 गज का मकान है। इसमें दो कमरे हैं, एक रसोई और एक बाथरूम है। परिवार में कृष्ण कुमार, उसकी पत्नी और दो बच्चे हैं। कृष्ण खुद इलेक्ट्रिशियन है। घर के पास ही उसकी दुकान है। इसी से उसके घर का गुजारा चलता है। उसके मकान का बिल एक हजार से तेरह सौ रुपए के बीच आता रहा है, लेकिन अब उसे पहले 68 लाख 84 हजार का बिल भेजा गया और इसे ठीक करने की शिकायत दी तो फिर उसे 1 करोड़ 10 लाख का बिल भेज दिया गया। अब वह फिर से बिजली दफ्तर में अफसरों के चक्कर लगाने को मजबूर है। इस बारे में बिजली महकमे के एक्सईएन (सिटी) जेसी शर्मा ने कहा है कि, 'जिस तरह से बिल की राशि है, उसे देखते हुए लग रहा है कि कहीं कोई गलती हुई है। जांच के बाद इसे ठीक करा दिया जाएगा।'
बिजली निगम के अधिकारियों के इस तरह से लापरवाही की सभी हदें पार करने से परेशान कृष्ण कुमार ने अब मुख्यमंत्री शिकायत विंडो पर अर्जी दी है। अपनी इस अर्जी में उसने लिखा है कि इस बिजली बिल की वजह से उसका पूरा परिवार परेशान चल रहा है। धक्के खा-खा कर थक चुका है। उसे आश्वासन तो मिलते हैं, लेकिन उसका बिल ठीक नहीं किया जा रहा है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर से उसने दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।
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