दिल्ली के निजामुद्दीन के पास मौजूद मरकज से कोरोना के 24 मरीज मिलने के बाद सरकार में हड़कंप मच गया था। खबर मिलने के बाद पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों ने निजामुद्दीन मरकज के प्रमुख मौलाना साद से बंगालीवाली मस्जिद को खाली करने के लिए कहा। लेकिन मौलाना साद ने मना कर दिया,ऐसे में गृह मंत्री अमित शाह ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल से आग्रह किया कि वह जमात को मस्जिद खाली करने के लिए राजी करें। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, गृह मंत्री के आग्रह पर डोभाल 28-29 मार्च की दरम्यानी रात 2 बजे मरकज पहुंचे। मौलाना साद को कहा कि वह कब्जेदारों की कोविड -19 संक्रमण की जांच करवाएं। मरकज ने 28 और 29 मार्च को 167 तब्लीगी कार्यकर्ताओं को अस्पताल में भर्ती होने की अनुमति दी थी, लेकिन डोभाल के हस्तक्षेप के बाद ही जमात नेतृत्व ने मस्जिद की सफाई की। डोभाल ने पिछले दशकों में भारत और विदेशों में विभिन्न मुस्लिम आंदोलनों के साथ बहुत करीबी संबंध बनाए हैं।
सुरक्षा एजेंसियों ने मरकज में कोरोना संक्रमण का संदेश अगले ही दिन सभी राज्यों और पुलिस को भेज दिया था। निजामुद्दीन स्थित मरकज से करीब 1,548 लोगों को निकाला गया है। इनमें से 441 में कोरोना के लक्षण पाए गए हैं और इन्हें एलएनजेपी, राजीव गांधी सुपर स्पेशिलिटी और जीटीबी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। इसके अलावा 1,107 लोगों को नरेला में आइसोलेशन में रखा गया है।
पीएम मोदी ने भाजपा प्रत्याशियों को लिखा पत्र, बोले- 'यह चुनाव उज्जवल भविष्य के निर्माण का सुनहरा अवसर'
कोर्ट में ईडी का दावा, केजरीवाल जमानत के लिए जेल में जानबूझकर खा रहे आम और मिठाइयां
रामनवमी पर मुर्शिदाबाद में हुई झड़प के लिए ममता ने चुनाव आयोग को ठहराया जिम्मेदार
Daily Horoscope