नई दिल्ली। सीबीआई ने गुरुवार को कोलकाता स्थित कंप्यूटर बनाने वाली कंपनी आर.पी. इंफो सिस्टम के दो निदेशकों को बैकों के संघ से कथित रूप से 515.15 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी के आरोप में गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तार किए गए निदेशकों की पहचान शिवाजी पानजा और कौस्तव रे के रूप में की गई है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
केन्द्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने 26 फरवरी को केनरा बैंक द्वारा शिकायत दर्ज कराने के बाद कंपनी और उसके निदेशकों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की थी। इसमें आरोप लगाया गया कि कंपनी के निदेशक पानजा, कौस्तव रे, विनय बफाना और अन्य ने केनरा बैंक एवं अन्य 9 सहायक बैंकों के साथ 515.15 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी की। आरोप लगाया गया कि गलत और जाली दस्तावेजों के आधार पर ऋण लिया गया। बैंकों ने यह भी आरोप लगाया कि कंपनी ने वित्तीय विवरणों में हेरफेर की और ऋण खाते के माध्यम से बिक्री को नहीं दर्शाया।
केनरा बैंक ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया है कि कंपनी ने चिराग नामक ब्रांड के साथ कंप्यूटर का निर्माण किया था और उसने 2012 के बाद से समय-समय पर बैंक संघ से धन अर्जित किया था। बैंक की शिकायत अब प्राथमिकी का हिस्सा है। प्राथमिकी के अनुसार यह कर्ज अब नॉन परफार्मिंग एसेट (एनपीए) बन चुके हैं। सीबीआई ने 2015 में भी कंपनी पर आईडीबीआई बैंक से 180 करोड़ रुपए को धोखाधड़ी करने के मामले में मुकदमा दर्ज किया था।
बैंकों के संघ में स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, स्टेट बैंक ऑफ बीकानेर और जयपुर, स्टेट बैंक ऑफ पटियाला, यूनियन बैंक ऑफ इंडिया, इलाहाबाद बैंक, ओरिएंटल बैंक ऑफ कॉमर्स, सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया, पंजाब नेशनल बैंक और फेडरल बैंक शामिल हैं।
-आईएएनएस
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