जयपुर। चंबल नाम ही काफी है। सुनते ही आज भी रोंगटे खड़े हो जाते हैं। फूलनदेवी, मलखान सिंह, पान सिंह तोमर और निर्भय गुर्जर जैसे डकैतों की गोलियों से गूंजता था यह इलाका। लेकिन, अब चंबल में इनका खौफ खत्म हो गया है। क्योंकि समय के साथ अपराध की दुनिया भी बदल गई है। अब डकैत नहीं गैंगस्टर्स होते हैं। गैंगस्टर्स का इतिहास करीब 25 साल पुराना है। ऐसा ही एक गैंगस्टर्स है लॉरेंस विश्नोई। उसकी गैंग से जुड़े ठिकानों पर नेशनल इन्वेस्टिंग एजेंसी मंगलवार सुबह से ही देश के 72 ठिकानों पर छापेमारी की कार्रवाई कर रही है। इनमें राजस्थान, के अलावा, हरियाणा, पंजाब, दिल्ली, चंडीगढ़, मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश शामिल हैं। हालांकि गैंगस्टर्स की लाइफ बहुत ज्यादा नहीं होती। या तो आपसी गैंगवार में मारे जाते हैं अथवा पुलिस इनका एनकाउंटर कर देती है। फिर भी एक बार अपराध की दुनिया में कदम रखने के बाद ये चाहकर भी बाहर नहीं निकल पाते हैं। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
राजस्थान चर्चित रहे हैं ये गैंगस्टरर्स :
आनंदपाल सिंह का नाम ना केवल राजस्थान बल्कि देश के कई राज्यों में चर्चित रहा था। उसका खौफ इस कदर था कि लोग नाम से ही कांपते थे। उसे पकड़ने के लिए पुलिस को उस पर 10 लाख रुपए का इनाम घोषित करना पड़ा था। वर्ष 2017 में एटीएस और चूरू पुलिस ने उसका एनकाउंटर कर दिया। भले ही आनंदपाल मारा गया है।
राजू ठेहटः राजू ठेहट भी जुर्म की इसी दुनिया से निकला नाम है। जयपुर और सीकर इलाकों में उसका काफी खौफ था। हालांकि एक बार उसने जुर्म की दुनिया छोड़ राजनीति में आने का मन भी बनाया। लेकिन, 3 दिसंबर, 2022 को सीकर में विरोधी गैंग के लोगों ने गोलियां बरसाकर उसे मौत के घाट उतार दिया।
लॉरेंस विश्नोईः यह गैंग राजस्थान ही नहीं बल्कि पंजाब, हरियाणा समेत देश के कई राज्यों में सक्रिय है। यह बॉलीवुड के कुछ अभिनेताओं को धमकियां देकर सुर्खियों में आया। इसका नेटवर्क भी काफी बड़ा है। इस गैंग को जेल से ही ऑपरेट करने के आरोप लगते रहे हैं। विश्नोई फिलहाल राजस्थान पुलिस की गिरफ्त में है।
नेहरा गैंगः संपत नेहरा एक तरह से लॉरेंस विश्नोई का ही सहयोगी है। दोनों गैंग ने मिलकर कई बड़ी वारदातों को अंजाम दिया है। इस गैंग पर यह भी आरोप है कि पंजाब में सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड के लिए गाड़ियां उपलब्ध कराई थीं।
लादेन गैंगः यह अपराध करने के लिए छद्म नाम गैंगस्टर विक्रम गुर्जर का। मूलतः अलवर जिले के निवासी लादेन पर अपहरण, डकैती समेत विभिन्न तरह के दो दर्जन से ज्यादा मामले दर्ज हैं।
कैसे काम करते हैं ये गैंगस्टर्सः
गैंग स्टर्स पर ऐसे युवाओं पर नजर रखते हैं जिन्हें ब्रांडेड कपड़े और अन्य चीजें खाने-पीने का शौक है। जो इसके लिए छोटे-मोटे अपराध करते हैं। गैंग स्टर्स उनकी शुरुआती तौर पर कुछ मदद करके उन्हें अपनी गैंग में शामिल कर लेते हैं। फिर पहले उनसे वसूली करवाते हैं और धीरे-धीरे बड़े अपराध कराने लगते हैं। धौलपुर में पिछले दिनों पकड़े गए एक बदमाश से पूछताछ में यह खुलासा हुआ था। यह गैंगस्टर्स अपना टारगेट भी लोगों के शौक और लाइफ स्टाइल देखकर सैट करते हैं।
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