नई दिल्ली । भारतीय रिजर्व बैंक
(आरबीआई) के गवर्नर शक्तिकांत दास ने शुक्रवार को दोहराया कि क्रिप्टो
करेंसी जुए के बराबर हैं, क्योंकि उनका कथित मूल्य केवल विश्वास दिलाता है।
दास ने एक मीडिया कार्यक्रम को संबोधित करते हुए क्रिप्टो पर प्रतिबंध
लगाने का आह्वान करते हुए कहा कि इसमें कोई अंतर्निहित मूल्य नहीं है।
उन्होंने कहा कि इसका समर्थन करने वाले इसे संपत्ति या वित्तीय उत्पाद कहते
हैं, लेकिन इसमें कोई अंतर्निहित मूल्य नहीं है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
क्रिप्टोकरेंसी के
विकास का मुकाबला करने के लिए, केंद्रीय बैंक ने हाल ही में पायलट मोड में
अपना ई-रुपया या केंद्रीय बैंक डिजिटल मुद्रा (सीबीडीसी) लॉन्च किया है।
उन्होंने
कहा, प्रत्येक संपत्ति, प्रत्येक वित्तीय उत्पाद में कुछ अंतर्निहित
(मूल्य) होना चाहिए, लेकिन क्रिप्टो के मामले में कोई अंतर्निहित नहीं है।
तो बिना किसी अंतर्निहित के कुछ भी, जिसका मूल्य पूरी तरह से विश्वास पर
निर्भर है, 100 प्रतिशत अटकलों के अलावा और कुछ नहीं है या इसे बहुत स्पष्ट
रूप से कहें तो यह जुआ है।
दास ने कहा, चूंकि हम अपने देश में जुए
की अनुमति नहीं देते हैं, और यदि आप जुए की अनुमति देना चाहते हैं, तो इसे
जुए के रूप में मानें और जुए के लिए नियम निर्धारित करें। लेकिन क्रिप्टो
एक वित्तीय उत्पाद नहीं है। उन्होंने कहा कि सीबीडीसी पैसे का भविष्य हैं
और इसे अपनाने से रसद और छपाई की लागत को बचाने में मदद मिल सकती है।
--आईएएनएस
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