नई दिल्ली। केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने गुरुवार को कहा कि उन्होंने पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) की नई शिकायत के आधार पर हीरा कारोबारी नीरव मोदी के खिलाफ एक और प्राथमिकी (एफआईआर) दर्ज की है। पीएनबी ने नीरव मोदी के खिलाफ 321 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी की शिकायत की है। नीरव मोदी ने 2013 से 2017 के बीच बैंक से कई ऋण लिए थे। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
सीबीआई अधिकारी के मुताबिक, रविवार को पीएनबी से एक और शिकायत मिलने के बाद नया मामला दर्ज किया गया। अधिकारियों ने बताया कि इस शिकायत में नीरव मोदी की फायरस्टार डायमंड्स इंटरनेशनल लि. के वित्तीय मामलों के पूर्व अध्यक्ष विपुल अंबानी, मुख्य वित्त अधिकारी रवि गुप्ता, कंपनी के अन्य निदेशक और अधिकारी और बैंक के कुछ अज्ञात कर्मचारियों के नाम शामिल हैं।
बैंक ने सीबीआई को दी शिकायत में कहा है कि उनकी आंतरिक जांच में नीरव मोदी की साझेदार कंपनियों सोलर एक्सपोट्र्स, स्टेलार डायमंड्स और डायमंड आर अस व फायरस्टार ग्रुप ऑफ कंपनीज के बीच ‘सर्कुलर ट्रांजेक्शन्स’ का पता चला है। बैंक के मुख्य कार्यालय ने फायरस्टार डायमंड्स और फायरस्टार इंटरनेशनल के खातों को फ्रॉड घोषित कर दिया है और रविवार को भारतीय रिजर्व बैंक को इसकी सूचना दे दी।
नीरव मोदी और गीतांजलि समूह के मेहुल चोकसी पीएनबी के 12,600 करोड़ रुपये के घोटाले में आरोपी हैं। इस घोटाले में अतिरिक्त 1,300 करोड़ रुपये का 26 फरवरी को खुलासा हुआ था। सीबीआई ने 14 फरवरी को नीरव मोदी, उनकी पत्नी एमी, भाई निशाल, चोकसी और उकनी कंपनियों डायमंड अरा यूएस, सोल एक्सपोट्र्स और स्टेलार डायमंड के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की थी। मोदी, उनकापरिवार और चोकसी जनवरी की शुरुआत में ही देश से फरार हो गए थे।
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