नई दिल्ली। पुलवामा आतंकी हमले पर विश्व पटल पर घिरे पाकिस्तान को और एक झटका लगा है। पेरिस में हुई फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स की बैठक में यह निर्णय लिया है कि पाकिस्तान ग्रे लिस्ट में ही रहेगा। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री का वह नाटक भी कोई जादू नहीं छोड़ सका जिसमें उसने हाफिज सईद के जमात-उद-दावा पर बैन लगाया था। ऐसा भी नहीं माना जा सकता है कि एफएटीएफ ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
ऐसा भी नहीं है कि एफएटीएफ से मिली राहत हमेशा के लिए रह पाएगी।
पाकिस्तान की रेटिंग का रिव्यू एक बार फिर जून और अक्टूबर में किया जाएगा। एफएटीएफ ने पाकिस्तान को चेतावनी देते हुए कहा कि वह आतंकवाद के खिलाफ एक्शन लेने की टाइमलाइन को चूके नहीं वरना उसे गंभीर परिणाम भुगतने पड़ जाएंगे। लेकिन भारत की ओर से जो उसे ब्लैक लिस्ट में शामिल किए जाने के प्रयासों को सफलता नहीं मिली है। एफएटीएफ की ओर से पाकिस्तान को नसीहत भी दी गई है उसका समय मिला है उस दौरान में ही टारगेट को पूरा कर लिया जाए।
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