नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने राम मंदिर मुद्दे पर पार्टी
नेताओं और प्रवक्ताओं को बयान देते समय संयम बरतने की नसीहत दी है। कहा है
कि टीवी डिबेट में या सार्वजनिक रूप से ऐसी कोई बात न कहें, जिससे भावनाएं
भडक़ें। भाजपा मुख्यालय में सोमवार को कई राज्यों के प्रवक्ताओं की बैठक में
ये निर्देश जारी किए गए। इस बैठक में भाजपा के युवा संगठनों से जुड़े
प्रवक्ताओं को खासतौर से बुलाकर समझाया गया।
राम मंदिर मामले में सुप्रीम
कोर्ट से 17 नवंबर से पहले फैसला आने की संभावना है। इसको लेकर भाजपा सजग
है। सत्ताधारी पार्टी चाहती है कि मीडिया से और सार्वजनिक कार्यक्रमों में
बोलते समय नेता व प्रवक्ता पार्टी लाइन का पूरा ख्याल रखें। वजह यह कि
फैसले की घड़ी नजदीक होने के कारण यह संवेदनशील समय चल रहा है।
बैठक में यह
भी कहा गया कि अगर फैसला मंदिर के पक्ष में आता है, तब भी इस पर जश्न न
मनाएं। इसे किसी की जीत-हार से न जोड़ें। इस मुद्दे पर पार्टी के वरिष्ठ
नेताओं के बयान पर गौर कर ही कुछ बोलें। पार्टी मुख्यालय में दोपहर 12 बजे
से आयोजित यह बैठक कई सत्रों में चली। महासचिव अनिल जैन, पूर्व केंद्रीय
मंत्री व राष्ट्रीय प्रवक्ता राजीव प्रताप रूडी ने यह बैठक ली।
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