नई दिल्ली। निर्भया गैंगरेप केस के दोषी मुकेश सिंह ने मंगलवार को सनसनीखेज दावा कर हर किसी को चौंका दिया। मुकेश का कहना है कि तिहाड़ जेल में उसका यौन उत्पीडऩ हुआ। उस पर निर्भया मामले के ही दूसरे दोषी अक्षय के साथ शारीरिक संबंध बनाने के लिए दबाव डाला गया। मुकेश की दया याचिका राष्ट्रपति भवन से 17 जनवरी को खारिज हो चुकी है। वकील अंजना प्रकाश ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि उनके मुवक्किल मुकेश का तिहाड़ जेल में यौन उत्पीडऩ हो रहा है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
कोर्ट ने आदेश सुरक्षित रख लिया है और बुधवार को फैसला सुनाएगा। जस्टिस आर भानुमति की अगुवाई में तीन न्यायधीशों की बेंच इसकी सुनवाई कर रही है। वकील ने यह दावा भी किया कि 2012 के इस गैंगरेप केस में अन्य दोषी राम सिंह की जेल में हत्या कर दी गई थी लेकिन इसे आत्महत्या का मामला बताकर बंद कर दिया गया। राम सिंह मार्च 2013 में जेल के भीतर फंदे पर लटका हुआ मिला था।
सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने वकील की दलीलों का विरोध करते हुए कहा कि दोषी के साथ यौन उत्पीडऩ और दुव्र्यवहार का आरोप दया का आधार नहीं हो सकता। मृत्युदंड के लिए मुजरिम को जेल में काल कोठरी में नहीं रखा गया, जैसा आरोप लगाया है, साथ ही सजा घटाने का कोई आधार भी नहीं बताया गया है।
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