कहते हैं राहू-केतु और शनि ग्रहों में से कोई भी ग्रह किसी जातक के पीछे पड
जाता है तो उसके जीवन में जबरदस्त उतार-चढाव आने लगते हैं। ऐसे में किसी
के पीछे तीनों ग्रह ही लग जाएं तो उसे पार पाना मुश्किल हो जाता है। ऐसे
में केवल एक पेड की पूजा करने भर से सभी दोषों से मुक्ति मिल जाती है- ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
तीनों ग्रहों की शांति के लिए केवल और केवल पीपल के पेड की जन्मी नक्षत्र के अनुसार पूजा करना लाभ देता है।
राहु के दुष्प्रभाव और उपाय
क्या है
राहू की प्रताडना के लक्षण
धोखा/जीवन में आये अचानक उतार चढाव /दुर्घटना / तंत्रिका तंत्र सम्बन्धी गम्भीर समस्या आदि।
क्या करें उपचार
जन्म नक्षत्र के दिन पीपल वृक्ष की परिक्रमा करते हुए ॐ नमः शिवाय का जप करें।
पीपल
के वृक्ष के नीचे से मिटटी ले कर उसमे गौ मूत्र या गंगाजल, मिलाकर शिवलिंग
का निर्माण करें और वहीं शांति से उसका अभिषेक कर उसे बहते जल में
प्रवाहित करें।
पीपल पर लाल पुष्प जन्म नक्षत्र या शनिवार वाले दिन चढाएं।
जन्म नक्षत्र वाले दिन पीपल के नीचे गौमूत्र मिली स्वेच्छा से शरीर पर लगाकर वहीं स्नान करें।
पीपल के नीचे बैठा कर किसी जरुरतमंद को मीठा भोजन कराएं।
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