सोनिया की डिनर पॉलिटिक्स, 17 विपक्षी दलों के नेताओं को न्यौता

www.khaskhabar.com | Published : मंगलवार, 13 मार्च 2018, 08:50 AM (IST)

नई दिल्ली। आगामी लोकसभा चुनाव को लेकर विपक्षी दलों को लामबंद करने के मकसद से यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी ने आज अपने घर पर डिनर पार्टी रखी है। कांग्रेस अध्यक्ष पद राहुल को सौंप चुकीं सोनिया गांधी अब भी मोदी के खिलाफ गठबंधन बनाने के लिए विपक्ष की धुरी बनने की जुगत लगा रही हैं। इस डिनर से पहले बैठकों में आने वाले 17 दल के नेता या उनके नुमाइंदे शामिल होंगे, लेकिन सपा प्रमुख अखिलेश यादव, बसपा सुप्रीमो मायावती, तृणमूल सुप्रीमो ममता बनर्जी और एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने अब तक शामिल होने पर सहमति नहीं दी है।

हालांकि, सोनिया के मैनेजर अभी भी कोशिश में हैं कि कम से कम पवार और ममता ही शिरकत करें, लेकिन अभी तक उन्हें सफलता नहीं मिली है। हालांकि इन सभी ने अपने नुमाइंदे भेजने पर सहमति दे दी है। इस डिनर डिप्लोमेसी के जरिये सोनिया एक तीर से दो निशाना साधना चाहती हैं। विपक्षी नेताओं को डिनर पर बुलाकर वह ये साबित करना चाहती हैं कि मोदी के विकल्प के तौर पर बनने वाले गठजोड़ का नेतृत्व कांग्रेस के पास ही होगा।

सोनिया गांधी का एक बड़ा संदेश ये है कि वह ममता और पवार की तीसरे मोर्चे की अगुवाई की कोशिश को तवज्जो नहीं देतीं। ऐसे में खुद ममता और शरद पवार का डिनर से अब तक दूर रहना कांग्रेस के लिए मुश्किलें खड़ा करने वाला है। हालांकि कांग्रेस मानती है कि मोदी के खिलाफ सबको एकजुट होना ही पड़ेगा और ये पूरे विपक्ष की जिम्मेदारी है। इस मुद्दे पर कांग्रेस नेता प्रमोद तिवारी ने कहा, वक्त का तकाजा है कि सभी साथ आएं, आज तीसरे-चौथे मोर्चे के कोई मतलब नहीं हैं।
वैसे कांग्रेस ये समझती है कि राहुल गांधी के नेतृत्व को लेकर पवार और ममता जैसे नेताओं को झिझक है। इसीलिए सोनिया 2019 तक गठबंधन की कमान अपने हाथ में रखना चाहती हैं। आखिर ये दोनों गाहे बगाहे मोदी विरोध के अगुआ बनने की सियासत करते रहे हैं।

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