चंडीगढ़। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि प्रदेश में
कंप्यूटर शिक्षा का स्तर बढ़ाने के लिए अगले वर्ष पांच हजार स्थाई
कम्प्यूटर अध्यापकों की भर्ती की जाएगी। इसके साथ ही कम्प्यूटर को रेगुलर
कोर्स में शामिल किया जाएगा। मुख्यमंत्री
आज अशोका यूनिवर्सिटी, सोनीपत में ‘हरियाणा कैसे बनेगा उच्च शिक्षा का
पावरहाउस’ विषय पर आयोजित दो दिवसीय सेमिनार के समापन अवसर पर संबोधित कर
रहे थे। अंतरराष्ट्रीय स्तर के इस सेमिनार में देश-विदेश के सैकड़ों
शिक्षाविदों ने दो दिन तक प्रदेश में शिक्षा के स्तर को ऊंचा उठाने के लिए
विभिन्न विषयों पर मंथन किया है।
मनोहर लाल ने कहा कि हरियाणा सरकार ने उच्च शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए
लगातार कार्य किया है। पिछले दिनों एक ही दिन में 21 नए कालेजों की शुरूआत
कर हमने हरियाणा में प्रत्येक 20 किलोमीटर पर कालेज की सौगात प्रदेश के
छात्र-छात्राओं को दी थी। अब हमने ऐसे 27 और स्थान चिह्नित किए हैं जहां पर
हम जल्द ही नए कालेजों की सौगात देंगे।
शिक्षा
को समाज का दर्पण बताते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि शिक्षा किसी भी समाज की
प्रगति का पैमाना होता है, यही चिंतन का एक विषय है और स्वर्ण जयंती वर्ष
के उपलक्ष्य में हमने राज्य को आगे बढ़ाने के लिए यही चिंतन करने का निर्णय
लिया। दो दिवसीय इस सेमिनार में अंतरराष्ट्रीय स्तर के चिंतक एकत्रित हुए
और प्रदेश में उच्च शिक्षा व शिक्षा को आगे बढ़ाने के विभिन्न विषयों पर
हमें सुझाव दिए हैं। उन्होंने कहा कि हमने प्रदेश में केजी से पीजी तक की
शिक्षा का ध्यान रखना है। शिक्षा की पर्याप्त बुनियादी सुविधा हमारे पास
उपलब्ध हैं लेकिन फिर भी हम शिक्षा का स्तर ऊंचा नहीं उठा पा रहे हैं। ऐसी
स्थिति में शिक्षा का स्तर ऊंचा उठाने में हम इन सुझावों पर काम करेंगे।
शिक्षा
का स्तर बेहतर करने के लिए अध्यापकों, छात्रों और अभिभावकों को दायित्व
सौंपते हुए उन्होंने कहा कि हमें मिलकर शिक्षा में और अधिक सुधार लाने के
लिए इस कार्य को आगे बढ़ाना होगा। उद्योगपतियों को भी अपनी सीएसआर के तहत
आगे आना होगा। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय में अनुसंधान की गुणवत्ता को
बढ़ाने और पाठ्यक्रमों को उद्योगों के अनुकूल बनाना होगा।
मनोहर लाल ने कहा कि शिक्षा को व्यापार बनाने वाली शिक्षा की दुकान बनें
विश्वविद्यालयों की जांच करनी होगी। हरियाणा में शिक्षा को और बेहतर बनाने
के लिए कई कदम उठाएं गए हैं। शिक्षकों की ऑनलाईन तबादला नीति लागू करने
वाला हरियाणा देश पहला राज्य है। कौशल विकास की दिशा में युवाओं को रोजगार
के अवसर प्रदान करने के लिए लगातार कदम उठाए हैं। प्रधानमंत्री कौशल विकास
योजना की तर्ज पर हरियाणा कौशल विकास मिशन बनाया गया है। हमारा उद्देश्य
प्रदेश के पांच लाख बेरोजगार युवाओं को हुनरमंद बनाकर रोजगार मुहैया करवाना
है।
प्रधानमंत्री
नरेंद्र मोदी के मिशन 2022 को आगे बढ़ाने का संकल्प दिलाते हुए उन्होंने
कहा कि मेक इन इंडिया, स्टार्ट-अप इंडिया, स्टैंड-अप इंडिया जैसे कार्यक्रम
देश की तकदीर को बदलने का कार्य करेंगे। देश के प्रत्येक नागरिक को इसमें
अपनी भूमिका निभानी होगी।
इस
अवसर पर उन्होंने कहा कि अशोका यूनिवर्सिटी ने उन्हें आज संस्कृत दर्शन,
हिंदी के नए कोर्स शुरू करने का वायदा किया है। इसके साथ ही जल्द ही भारतीय
भाषाओं के विकास के लिए सेंटर फार इंडियन स्टडीज बनाए जाने की बात भी कही
है। उन्होंने कहा कि इसका उद्देश्य देश की सभी भाषाओं को परस्पर सामंजस्य
बनाए रखना है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के एक भारत श्रेष्ठ भारत के सपने
को इस तरह के कार्यक्रम आगे बढ़ाने का कार्य करेंगे।
इस
अवसर पर शिक्षा मंत्री राम बिलास शर्मा ने कहा कि हमें उच्च शिक्षा को
लेकर एक बड़ा रास्ता तय करना है। हमने प्रदेश में 20 किलोमीटर की परिधि में
कालेज खोले। इस अवसर पर विश्वविद्यालय के कुलपति जेडी गुप्ता, उप कुलपति
भानु प्रताप मेहरा ने भी संबोधित किया। कार्यक्रम में हरियाणा राज्य कृषि
विपणन बोर्ड की चेयरमैन कृष्णा गहलावत, उच्च शिक्षा विभाग की प्रधान सचिव
ज्योति अरोड़ा सहित कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।
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