• Aapki Saheli
  • Astro Sathi
  • Business Khaskhabar
  • ifairer
  • iautoindia
1 of 1

शराब संयंत्रों का पानी नहीं रोकेगा SC

supreme court dismisses plea to stop water supply to liquor factories - India News in Hindi

नई दिल्ली। सुप्रीमकोर्ट ने महाराष्ट्र में शराब उद्योगों की जलापूर्ति रोकने के लिए दायर जनहित याचिका मंगलवार को खारिज कर दी। याचिका में तर्क दिया गया था कि शराब उद्योगों को पानी की आपूर्ति रोके जाने से महाराष्ट्र में अपूर्व सूखे की मार झेल रहे लाखों लोगों को पानी मिल सकता है।

न्यायालय की अवकाशकालीन पीठ के न्यायाधीश न्यायमूर्ति प्रफुल्ल सी पंत और न्यायमूर्ति डीवाई चंद्रचूड ने याचिका खारिज करते हुए कहा कि यह नीतिगत मामला है और इस मामले में न्यायपालिका द्वारा किसी तरह के हस्तक्षेप का तात्पर्य शासन को अपने हाथ में लेना माना जाएगा। शीर्ष अदालत की अवकाश पीठ ने जनहित याचिकाकर्ताओं से कहा कि बम्बई हाईकोर्ट पहले ही शराब फैक्ट्रियों को 60 फीसदी पानी की कटौती का आदेश दे चुका है, इसलिए हाईकोर्ट से आदेश में बदलाव की मांग की जा सकती है। पीठ ने कहा कि नीतिगत मामले के कुछ पहलुओं को राज्य सरकार के लिए छोडना है।

पीठ ने सवालिया लहजे में पूछा कि शराब उद्योगों की पानी की आपूर्ति में कटौती क्यों 60 प्रतिशत ही होनी चाहिए, 30 या 70 प्रतिशत क्यों नहीं। पीठ ने आश्चय व्यक्त किया कि कहीं प्रचार के लिए तो शराब उद्योगों की शत प्रतिशत जलापूर्ति रोकने की मांग को लेकर याचिका दायर की गई है। याचिकाकर्ता भास्करराव काले ने उच्च न्यायालय के अंतरिम आदेश पर सवालिया निशान लगाया जिसमें कहा गया है कि लोगों के पेयजल की जरूरत और उद्योग की आवश्यकता के बीच संतुलन बनाए रखना है।

शराब उद्योग की शतप्रतिशत जलापूर्ति रोकने की मांग करते हुए काले ने कहा कि उद्योगों से अधिक मानवीय जरूरतों को तरजीह मिलनी चाहिए, क्योंकि पेयजल की सुलभता मौलिक अधिकार है। याचिकाकर्ता ने कहा कि शराब उद्योग छह लाख घन फीट जल का उपभोग करता है, और इसके अतिरिक्त तीन लाख घन फीट पानी अनाधिकृत रूप से लेता है, और पानी की यह मात्रा राज्य के शहरों में प्रति वर्ष उपभोग किए जाने वाले दो लाख घनफीट पानी से कई गुना अधिक है। काले ने कहा कि महाराष्ट्र में 454,772 लोगों के पास ही शराब रखने, उपभोग करने और परिवहन करने का लाइसेंस है और राज्य में उत्पादित 86,71, 40,565 लीटर शराब का निर्यात हो रहा है।

याचिकाकर्ता ने कहा कि संविधान के अनुच्छेद 21 के तहत अपने नागरिकों को स्वच्छ पेयजल उपलब्ध कराना राज्य सरकार का दायित्व है। शराब उद्योग को शत प्रतिशत जलापूर्ति रोकने संबंधी याचिका खारिज होने का महत्व इसलिए है कि इससे पहले शीर्ष अदालत ने राज्य में जारी सूखे की स्थिति के मद्देनजर महाराष्ट्र में आईपीएल मैचों के आयोजनों पर रोक लगाने वाले बम्बई उच्च न्यायालय के फैसले को बरकरार रखा था। (आईएएनएस)

यह भी पढ़े

Web Title-supreme court dismisses plea to stop water supply to liquor factories
खास खबर Hindi News के अपडेट पाने के लिए फेसबुक पर लाइक और ट्विटर पर फॉलो करे!
(News in Hindi खास खबर पर)
Tags: supreme court, dismiss, plea, water supply, liquor factories, hindi news, news in hindi, hindinews, news hindi, breaking news in hindi, today news in hindi
Khaskhabar.com Facebook Page:

प्रमुख खबरे

आपका राज्य

Traffic

जीवन मंत्र

Daily Horoscope

Copyright © 2024 Khaskhabar.com Group, All Rights Reserved