नूंह मेवात। जिले के पिनगवां राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय गर्ल्स के दिन फिरने जा रहे हैं। कई दशक से चंद कमरों के अलावा अन्य सुविधाओं से महरूम बेटियों को अब अध्यापकों के साथ -साथ नया भवन और सुंदर वातावरण के साथ -साथ सभी सुविधाएं मिलने जा रही हैं। [@ ये हैं आज का एकलव्य, अपने ही टीचर से मांगी फिरौती...] [@ अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे]
शुक्रवार को जिला शिक्षा अधिकारी दिनेश शास्त्री ने पिनगवां के गर्ल्स स्कूल का दौरा कर बच्चियों को साईंस और राजनीतिक शास्त्र के लेक्चरर की सौगात तो हाथोँ -हाथ दी ,साथ ही दो मंजिला भवन बनाने की दिशा में कदम बढ़ाए। इतना ही नहीं नया भवन बनने तक अस्थाई व्यवस्था के तौर पर 6 -8 वीं कक्षा की छात्राओं को पड़ोस के प्राइमरी स्कूल भवन में पढ़ाने के आदेश दिए। खास बात तो यह रही कि लड़कियों की क्लास लेने से लेकर उनके उत्साहवर्धन में कोई कोर -कसर नहीं छोड़ी।
डीईओ नूंह अभी से बोर्ड की कक्षाओं 10 -12 वीं के परीक्षा परिणामों को बेहतर बनाने की दिशा में दलबल के साथ अभी से जुट गए। उनके साथ आये कई विषयों के लेक्चरर ने बच्चों से सवाल ही नहीं पूछे बल्कि हर 15 दिन में लड़के - लड़कियों के अलग -अलग टेस्ट लेकर उनमें बेहतर नतीजे लाने का जज्बा पैदा करें। जो बेहतर हो गया ,उनको डीईओ कार्यालय सम्मानित भी करेगा। ऐसा सब कुछ खबर का असर होने से हुआ है।
कई दशक से सुविधाओं की दुहाई दे रही छात्राओं और अध्यापकों को एक साथ शुक्रवार को कई तोहफे जिला शिक्षा अधिकारी ने स्कूल में पहुंच कर दिए और गांव के मौजिज लोगों के साथ भी बैठक की ,तो सबके चेहरे खिल गए। तक़रीबन 600 लड़कियां 6 -12 कक्षा तक इस स्कूल में तालीम हांसिल कर रही हैं। कई दिन पहले हमने इस स्कूल की समस्याओं को प्रमुखता से उठाकर चौथे स्तम्भ मीडिया का फर्ज निभाया ,जिस पर शिक्षा विभाग पूरी तरह गंभीर हुआ और बरसों पुरानी समस्या पर तेजी से मोहर लग गई।
आपको बता दें कि राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय गर्ल्स पिनगवां की बिल्डिंग लड़कियों की संख्या के हिसाब से बड़ी छोटी पड़ रही थी। स्टाफ ,मिड डे मिल ,कबाड़ इत्यादि से लेकर लड़कियों के पढ़ने के लिए मात्र पांच कमरे थे। लड़कियों को सर्दी ,गर्मी ,बरसात में खुले आसमान के नीचे बैठकर तालीम हांसिल करनी पड़ती थी। पीने के पानी , बिजली , शौचालय की कमी छात्राओं को लगातार खल रही थी। जगह का अभाव और टीचरों अभाव लड़कियों की बेहतर तालीम में रोड़ा बना हुआ था। मीडिया ने इस मुद्दे को गंभीरता से उठाया ,तो लंबे समय से नींद में सोए हुए सिस्टम की आंख खुली ,तो एक नहीं बल्कि कई सौगात एक साथ शुक्रवार को मिल गई। जिला शिक्षा अधिकारी दिनेश शास्त्री ने भरोसा दिलाया कि सोमवार -मंगलवार तक एस्टिमेट चंडीगढ़ आला अधिकारियों को भेज दिया जाएगा। जगह के अभाव को देखते हुए पिनगवां गर्ल्स स्कूल भवन को दो मंजिला बनाने का प्रस्ताव भेजा जायेगा। सर्व शिक्षा विभाग के जूनियर इंजिनियर को भी डीईओ शुक्रवार को हाथोंहाथ एस्टिमेट बनवाने के लिए अपने साथ लेकर पहुंचे। इसी दौरान शिक्षा विभाग के अधिकारियों की टीम ने बॉयज स्कूल पिनगवां का भी दौरा कर बच्चों को जरुरी दिशा निर्देश दिए। इतना ही नहीं दसवीं -बारहवीं के परीक्षा परिणामों को बेहतर लाने के लिए बच्चों से सवाल -जवाब भी किये। कुल मिलाकर शुक्रवार का दिन पिनगवां कस्बे की तालीम को मजबूती देने के लिहाज से हमेशा याद किया जाएगा। छात्राओं और अभिभावकों से लेकर स्कूल स्टाफ ने मुद्दे को गंभीरता से उठाने के लिए धन्यवाद दिया।
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