लंदन। ब्रिटेन के यूरोपीय संघ (ईयू) से अलग होने (ब्रेक्जिट) के कुछ दिन
बाद ही 25 लाख से ज्यादा नागरिकों ने एक याचिका पर हस्ताक्षर किए हैं
जिसमें ईयू पर दूसरे जनमत संग्रह की मांग की गई है। हालांकि प्रधानमंत्री
डेविड कैमरन ने कहा था कि ईयू पर दूसरा जनमत संग्रह नहीं होगा।
ब्रिटिश संसद अपनी वेबसाइट पर पोस्ट की गई 1 लाख से ज्यादा हस्ताक्षर वाली
किसी भी याचिका पर चर्चा कराने पर विचार करती है। 23 जून को हुए ऎतिहासिक
जनमत संग्रह से पहले पोस्ट किए गए प्रस्ताव में कहा गया है कि ईयू की
सदस्यता के पक्ष या विपक्ष में 75 फीसदी मतदान की स्थिति में 60 फीसदी से
कम वोट मिलते हैं तो एक अन्य जनतम संग्रह कराना चाहिए।
गुरूवार को आए जनमत संग्रह के परिणामों में कुल 72 फीसदी मतदान के तहत 52
प्रतिशत लोगों ने ब्रेक्जिट के पक्ष में मतदान किया लेकिन लंदन, स्कॉटलैंड
और नॉर्दर्न आयरलैंड में बहुमत ईयू में बने रहने के पक्ष में आया।
ब्रिटेन में शुक्रवार को किए गए एक ओपिनियन पोल के अनुसार आधे मतदाताओं का
कहना है कि अगर ईयू ब्रिटेन की सदस्यता पर ज्यादा सुधारों की पेशकश करता है
तो भी जनमत संग्रह के नतीजे कायम रहने चाहिए जबकि 39 प्रतिशत लोगों की राय
है कि नए सुधारों की पेशकश होने पर दूसरा जनमत संग्रह कराना चाहिए।
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