शास्त्रों और पुराणों के अनुसार शारदीय नवरात्र अधिक महत्वपूर्ण है।
प्राचीन काल में नवसंवत्सर से आरंभ होने वाला नवरात्र ही अधिक प्रचलित था।
लेकिन कलियुग में शारदीय नवरात्र का महत्व बढ़ गया है। शास्त्रों में
नवरात्र को आध्यात्मिक चेतना को जागृत करने का समय माना गया है। इसलिए
नवरात्र के कई नियम हैं जिनका पालन व्रत करने वालों और जो व्रत नहीं करते
हैं उन्हें भी करना चाहिए।
इन नियकों का जरूर पालन करें-
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