अभिषेक मिश्रा, लखनऊ। राजधानी की नौ विधान
सभा की सीटों पर शनिवार को मतगणना के जरिये लोकतंत्र के मंदिर की अंतिम पूजा थी।
यानि महीनेभर से मेहनत करते अपनी जीत या हार को स्वीकारने का दिन था, जिसमें सभी
उम्मीदवारों ने इसमें बढ़चढ़ कर हिस्सा लिया। सभी के परिवार के कई लोग भी शामिल थे
और उन्होंने प्रत्याशी के साथ कदम से कदम मिलाकर साथ निभाया। इन उम्मीदवारों में
भाजपा की प्रदेश महिला अध्यक्ष स्वाति सिंह के पति दयाशंकर सिंह आज पूरे समय अपनी पत्नी
के साथ रहे और जीत का प्रमाण पत्र लेने के बाद उनकी खुशी देखी जा सकती थी। [ अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे]
इसी
प्रकार भाजपा के पूर्व के प्रत्याशी और बड़े राजनीतिक परिवार से ताल्लुक रखने वाले
आशुतोष टंडन के भाई सुबोध टंडन और अमित टंडन पूरे समय तक अपने भाई के साथ रहे और
जीत के बाद उन्होंने जश्न भी मनाया। इसी प्रकार देश के बड़े राजनीतिक परिवार से
नाता रखने वाली रीता बहुगुणा जोशी के लड़के मयंक जोशी अपनी माता के साथ रहे। सुबह
से ही वे मतगणना में रहे और जीत की खुशी को साझा किया। पूर्व सांसद और माध्य मध्य
से पहली बार विधायक बनें बृजेश पाठक के साथ उनके साले अरविन्द त्रिपाठी गुड्डू
लगातार खड़े रहे। वे जीत के बाद रंग खेलने भी नजर आये और अपने जीजा की जीत के
साक्षी बनें। पहली बार विधायक बने डा. नीजर बोरा के साथ उनकी पत्नी बिन्दु बोरा
मौजूद रहीं।
वे लगातार प्रचार में भी साथ रही और आज परिणाम निकलने तक उनके साथ रही
और पूरे चुनाव की साक्षी बनीं। चार बार भाजपा से विधायक बनने वाले सुरेश
श्रीवास्तव के साथ उनके लड़के सौरभ श्रीवास्तव भी रहे, जिन्होंने अपने पिता के साथ
कंधे से कंधा मिलाकर साथ निभाया और जीत की खुशी को सबके सामने जाहिर की। वहीं
समाजवादी के पार्टी के एक मात्र विजयी प्रत्याशी अम्ब्रीश पुष्कर के पिता और चाचा
भी जीत के वक्त मौजूद रहे।
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