बेंगलुरू। केंद्र ने कर्नाटक उच्च न्यायालय में कहा है कि अमेरिकी माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म ट्विटर संविधान के अनुच्छेद 19 के तहत संरक्षण नहीं ले सकता है, जो भाषण और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता सुनिश्चित करता है। केंद्र सरकार का प्रतिनिधित्व कर रहे अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल (दक्षिण) आर. शंकरनारायणन ने गुरुवार को उच्च न्यायालय में प्रस्तुत किया कि संविधान का अनुच्छेद 19 भारतीय नागरिकों को बोलने और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता की गारंटी देता है, न कि विदेशियों और विदेशी संस्थाओं को। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
ट्विटर ने 2 फरवरी, 2021 और 28 फरवरी, 2022 के बीच केंद्र सरकार द्वारा ब्लॉक किए गए आदेशों को चुनौती दी है। अमेरिकी माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म ने आरोप लगाया कि आदेश मनमाने हैं।
अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल ने कहा, ट्विटर अनुच्छेद 19 के तहत सुरक्षा की मांग नहीं कर सकता, क्योंकि यह एक विदेशी कंपनी है।
मामला 10 अप्रैल तक के लिए स्थगित कर दिया गया है।(आईएएनएस)
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