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नई दिल्ली। भ्रष्टाचार विरोधी आंदोलन का नेतृत्व और जन लोकपाल के लिए मुहिम चलाने वाले अन्ना हजारे और उनके पूर्व सहयोगी आम आदमी पार्टी के संयोजक के बीच रिश्तों में कडवाहट के संबंध में एक और खुलासा हुआ है। अब दिल्ली चुनाव से ठीक पहले दिसंबर, 2012 की एक सीडी सामने आई है जिसमें अन्ना हजारे जो बाते कह रहे हैं उससे केजरीवाल पर अन्ना हजारे को ब्लैकमेल करने के आरोप लग रहे हैं। चुनाव पूर्व यह सीडी सामने आने के बाद कहा जा रहा है कि इससे आम आदमी पार्टी की छवि को नुकसान पहुंच सकता है। इस सीडी में अन्ना भ्रष्टाचार विरोधी आंदोलन के दौरान जमा किए गए तीन करोड रूपये को लेकर अपनी नाखुशी जता रहे हैं। वीडियो में अन्ना कह रहे हैं कि रामलीला मैदान में विरोध प्रदर्शन के दौरान जमा किए गए तीन करोड रूपये का दुरूपयोग हुआ है। अन्ना यह कहते हुए दिख रहे हैं कि आंदोलन के नाम पर करोडों रूपये वसूले गये, लेकिन उन्होंने एक रूपया नहीं लिया। वीडियो की इन बातों में अन्ना और आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल के मतभेदों को फिर से बेपर्दा कर दिया है। अन्ना सीडी में लोगों से ये कहते हुए दिखाई दे रहे हैं कि आंदोलन के दौरान लोगों के डाटा और उनके नाम का इस्तेमाल चुनाव में किया जा रहा है। उधर, आम आदमी पार्टी का कहना है कि चुनाव से ठीक पहले इस तरह का वीडियो सामने आना अरविंद केजरीवाल की छवि को बिगाडने की कोशिश भर है। आप के नेता संजय सिंह ने सवाल उठाया कि आखिर 11 महीने के बाद ही यह सीडी क्यों सामने आई। अब जबकि दिल्ली चुनाव में महज 15 दिन ही बाकी हैं, तब ऎसी सीडी के आने का क्या मकसद है। यह एक राजनीतिक साजिश है। अगर किसी को कोई शक है, तो वे हमारी जांच कर सकता है और जनता के बीच इसे रख सकता है। संजय सिंह ने कहा कि केजरीवाल पहले ही कह जुके हैं कि अगर किसी फंड के दुरूपयोग की बात सच साबित होती है, तो आप किसी तरह का चुनाव नहीं लडेगी। यह कहा जा रहा है कि अन्ना और अरविंद केजरीवाल के मतभेदों को सार्वजनिक करने वाली यह सीडी पिछले साल यानि 2012 के दिसंबर की है।
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